सुप्रीम कोर्ट ने कांवड़ मार्ग पर नाम लिखने के निर्देश पर अंतरिम आदेश आगे बढ़ाया
नाम लिखने का कानून तो सभी क्षेत्रों में लागू हो
उत्तराखंड हरिद्वार शनिवार 27 जुलाई 2024
सुप्रीम कोर्ट ने उत्तर प्रदेश उत्तराखंड व मध्य प्रदेश समेत अन्य राज्यों में कावड़ मार्ग पर दुकानदारों और फेरी वालों के नाम लिखने के निर्देश पर अंतरिम आदेश आगे बढ़ा दिया है | हालांकि शीर्ष कोर्ट ने यह स्पष्ट किया की दुकानों भोजनालय को अपने परिसर के बाहर अपने मालिकों और कर्मचारियों के नाम स्वेच्छा से प्रदर्शित करने पर कोई प्रतिबंध नहीं है |
जस्टिस ऋषिकेश राय और जस्टिस एसवीएन भट्टी की पीठ ने कहा अंतरिम आदेश अगली सुनवाई की तारीख 5 अगस्त तक जारी रहेगा | पीठ एसोसिएशन फॉर प्रोटेक्शन ऑफ़ सिविल राइट्स टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा , प्रोफेसर अपूर्वानंद और स्तंभकार आकर पटेल द्वारा यूपी उत्तराखंड सरकारों के निर्देशों के खिलाफ दायर याचिकाओं पर सनी कर रही थी | टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा के वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने कहा यूपी सरकार ने बृहस्पतिवार रात 10:30 बजे जवाबी हलफनामा दाखिल किया है इसलिए उन्हें अपना जवाब दाखिल करने के लिए समय चाहिए | यह कहते हुए की जवाबी हालकनामा रिकॉर्ड पर नहीं आया है पीठ ने मामला स्थगित करने पर सहमति जताई | मध्य प्रदेश के वकील ने मीडिया रिपोर्ट का खंडन किया की उज्जैन नगर निगम ने इसी तरह का निर्देश जारी किया है |
यूपी सरकार की ओर से पेश वरिष्ठ वकील मुकुल रोहतगी ने कहा की केंद्रीय कानून खाद्य और सुरक्षा मानक अधिनियम 2006 के तहत रेस्टोरेंट सहित हर खाद्य विक्रेता के मालिकों के नाम प्रदर्शित करना जरूरी होता है | नाम लिखने पर रोक लगाने वाला अंतरिम आदेश इस केंद्रीय कानून के अनुरूप नहीं है क्योंकि याचिका करता ने इसे संज्ञान में नहीं लाए थे | इस पर जस्टिस राय ने कहा ऐसा कोई कानून है तो सभी क्षेत्रों में लागू करना चाहिए ना कि कुछ क्षेत्रों में | एक हलफनामा दाखिल करें जिसमें बताएं कि इसे सभी जगह लागू किया है | मुकुल रोहतगी ने मामले की सुनवाई सोमवार या मंगलवार को करने का अनुरोध किया | उन्होंने कहा अन्यथा मामला निरर्थक हो जाएगा , कांवड़ यात्रा की अवधि 2 सप्ताह में समाप्त हो जाएगी | लेकिन सुप्रीम कोर्ट के दोनों ‘ विद्वान न्यायाधीशों ‘ ने उत्तर प्रदेश सरकार की तरफ से पेश वरिष्ठ वकील मुकुल रोहतगी की इस मांग को दरकिनार करते हुए 5 अगस्त की तारीख दी है जब यह कावड़ यात्रा समाप्त हो जाएगी क्योंकि कावड़ यात्रा का जल 2 अगस्त को सभी शिवालयों पर पूरे देश में चढ़ा दिया जाएगा